लखनऊ न्यूज डेस्क: दिल्ली पुलिस ने एक बड़े फर्जीवाड़े का खुलासा करते हुए उन अपराधियों के गिरोह को पकड़ लिया है, जो जाली दस्तावेजों के जरिए लोगों को विदेश भेजने का गैरकानूनी धंधा चला रहे थे। यह सिंडिकेट फर्जी आधार कार्ड, वोटर आईडी, पैन कार्ड और जन्म प्रमाण पत्र बनाकर पासपोर्ट तैयार करवाता था। पुलिस की इंटर स्टेट सेल पिछले चार महीनों से इस रैकेट की निगरानी कर रही थी। गिरोह पासपोर्ट बनवाने के लिए लखनऊ पासपोर्ट ऑफिस के कुछ कर्मचारियों की मिलीभगत से काम करता था, जिससे अपराधियों को बिना किसी परेशानी के असली पासपोर्ट हासिल हो जाता था।
दिल्ली पुलिस ने इस गैंग तक पहुंचने के लिए एक नकली ग्राहक भेजा, जिसने फर्जी नाम पर पासपोर्ट बनवाने की डील की। गिरोह के सदस्य निशांत सक्सेना और एजेंट सुफियान ने उसे फर्जी आधार कार्ड, वोटर आईडी और जन्म प्रमाण पत्र दिलवाया, जिसके बाद पासपोर्ट आवेदन किया गया। पासपोर्ट सेवा केंद्र के कुछ कर्मचारियों की मदद से पासपोर्ट बन भी गया, जिससे पुलिस को यकीन हो गया कि यह संगठित अपराध का मामला है। इसके बाद 25 फरवरी को पुलिस ने मास्टरमाइंड निशांत सक्सेना को लखनऊ से गिरफ्तार कर लिया। छापेमारी में 5 फर्जी पासपोर्ट, दो सीपीयू, दो मोबाइल फोन और कई अहम दस्तावेज बरामद किए गए।
इस पूरे ऑपरेशन में पुलिस अब तक 7 लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है, जिनमें मोनू उर्फ आर्यन, जो नीरज बवाना गैंग का सदस्य है, और पंजाब का हिस्ट्रीशीटर हरपाल सिंह भी शामिल है। गिरोह के पास से 6 फर्जी पासपोर्ट, 2 लैपटॉप, 12 मोबाइल फोन, 170 खाली पीवीसी पैन कार्ड, 317 ई-श्रम कार्ड, 104 वोटर आईडी कार्ड, 60 आयुष्मान कार्ड और 27 ड्राइविंग लाइसेंस कार्ड सहित बड़ी संख्या में नकली दस्तावेज जब्त किए गए हैं। पुलिस अब गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश कर रही है और पता लगा रही है कि इस रैकेट का दायरा कितना बड़ा है।