लखनऊ न्यूज डेस्क: लखनऊ के चारबाग रेलवे स्टेशन पर नशेड़ी, भिखारी और जुआरी यात्री की सुरक्षा के लिए गंभीर चिंता का विषय बने हुए हैं। प्लेटफॉर्म की सीढ़ियों से लेकर पार्किंग एरिया तक इनका कब्जा बना हुआ है। दिनभर यह लोग यहां-वहां घूमते रहते हैं, लेकिन इन्हें रोकने या टोकने वाला कोई नहीं है। हालात इतने बिगड़ गए हैं कि चार दिन पहले एक नशेड़ी ने प्लेटफॉर्म से पांच साल के बच्चे का अपहरण कर हत्या कर दी, जिससे स्टेशन पर यात्रियों के बीच दहशत का माहौल बना है। इसके बावजूद जीआरपी टीम ने सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम नहीं किए हैं।
स्टेशन के प्लेटफॉर्म पर कई स्थानों पर नशेड़ी खुलेआम नशा करते हुए देखे गए हैं। प्लेटफॉर्म नंबर छह की सीढ़ियों पर एक व्यक्ति नशे की हालत में बैठा था, जबकि लगातार यात्री आ-जा रहे थे। वहीं, प्लेटफॉर्म के सामने फुटपाथ पर एक युवक नशा सूंघ रहा था और कुछ लोग रेलवे पटरियों पर बैठकर गंजा पी रहे थे। यह स्थिति तब है जब स्टेशन प्रशासन ने इन गतिविधियों को रोकने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाए हैं।
चारबाग स्टेशन पर यात्रियों को प्लेटफॉर्म पर जाने के लिए 10 रुपये का टिकट लेना पड़ता है, जबकि भिखारी और नशेड़ी बिना किसी रोक-टोक के प्लेटफॉर्म पर घूमते रहते हैं। यह लोग कई बार ट्रेन में बैठकर दूसरे स्टेशनों तक भी पहुंच जाते हैं, जिससे यात्रियों में असुरक्षा का माहौल बना रहता है। इस पर प्रशासन की तरफ से कोई ठोस कार्रवाई नहीं की जा रही है, जिससे स्टेशन पर यात्रियों की सुरक्षा को लेकर सवाल उठ रहे हैं।
इस सब के बीच, जीआरपी पुलिस अधीक्षक प्रशांत वर्मा ने बताया कि अब चारबाग स्टेशन पर नशेड़ी, भिखारी और जुआरियों के खिलाफ जीआरपी और आरपीएफ की संयुक्त टीम अभियान चलाएगी। उन्होंने यात्रियों की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देने का आश्वासन दिया है, लेकिन देखना होगा कि इस अभियान के तहत कौन-कौन से ठोस कदम उठाए जाते हैं और क्या स्थिति में सुधार आता है।