लखनऊ न्यूज डेस्क: मोहनलालगंज के किसान पथ पर 15 मई की सुबह एक दर्दनाक हादसा सामने आया, जब हरिकंशगढ़ी के पास चलती स्लीपर बस में आग लग गई थी। इस घटना में पांच यात्रियों की मौके पर ही जलकर मौत हो गई थी। अब इस मामले में चौंकाने वाला खुलासा हुआ है। गिरफ्तार बस चालक शंकर यादव ने पुलिस पूछताछ में बताया कि बस के मालिक ने अवैध रूप से बस में बदलाव करवाए थे, जिससे यह हादसा हुआ।
चालक के अनुसार, बस मालिक ने ज्यादा मुनाफा कमाने के चक्कर में दोनों इमरजेंसी गेट बंद करवा दिए थे और वहां अतिरिक्त सीटें लगवा दी थीं। यह गैरकानूनी बदलाव यात्रियों की जान पर भारी पड़ा, क्योंकि आग लगने पर वे समय रहते बाहर नहीं निकल सके। बस में क्षमता से कहीं अधिक, लगभग दोगुनी संख्या में लोग सवार थे, जिससे स्थिति और भी भयावह हो गई।
पुलिस जांच में पता चला है कि बस मालिक मूल रूप से बागपत का रहने वाला है और वर्तमान में दिल्ली में रह रहा है। उसकी लोकेशन ट्रेस कर ली गई है और दिल्ली में उसे पकड़ने के लिए पुलिस टीम भेजी गई है। साथ ही, घटना के अन्य जिम्मेदार लोगों की तलाश भी जारी है और जल्द ही दूसरे चालक की गिरफ्तारी भी की जा सकती है। जांच पूरी होने के बाद केस में गंभीर धाराएं जोड़ी जाएंगी।
इस भीषण हादसे में जिनकी मौत हुई, उनमें राम बालक नामक व्यक्ति के दो मासूम बच्चे – चार साल का देवराज और दो साल की साक्षी, समस्तीपुर की लख्खी देवी और उनकी बेटी सोनी, तथा मधुसूदन कुमार शामिल हैं। राम बालक ने मोहनलालगंज थाने में बस चालक, परिचालक और ट्रैवल एजेंसी मालिक के खिलाफ गैर इरादतन हत्या की FIR दर्ज कराई है। सभी यात्री बिहार के बेगूसराय से दिल्ली जा रहे थे।